टेक्नोलॉजी के बढ़ने के साथ, एक बैंक से दूसरे बैंक में पैसे ट्रान्सफर करना अब बहुत आसान हो गया है| वर्तमान में, इलेक्ट्रॉनिक बैंक ट्रान्सफर के लिए दो सिस्टम को जाना जाता है, NEFT और RTGS. बता दें, कि इन दोनों के भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) द्वारा लॉन्च किया गया है|
ट्रांजेक्शन राशि | शुल्क |
₹ 10,000 तक | ₹ 2 |
₹ 10,000 से ₹ 1 लाख तक | ₹ 5 |
₹ 1 से ₹ 2 लाख तक | ₹ 15 |
₹ 2 लाख से ज़्यादा | ₹ 25 |
- भारत में, इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर के लिए NEFTसेवा प्रदान करने वाला प्रत्येक बैंक एक निश्चित शुल्क की माँग करता है। एसबीआई (SBI) NEFT ट्रांजेक्शन पर ट्रान्सफर की जा रही राशि के मुताबिक, शुल्क लेता है| शुल्क को बैंक की आधिकारिक वेबसाइट पर देखा जा सकता है
हाल ही में, डिजिटल ट्रांजेक्शन को बढ़ावा देने के लिए, इंटरनेट बैंकिंग या मोबाइल बैंकिंग के लिए एसबीआई (SBI) NEFT शुल्क में बदलाव किये गए हैं| इंटरनेट या मोबाइल बैंकिंग के माध्यम से NEFT द्वारा 10,000 रूपये तक ट्रान्सफर करने पर 2.50 रूपये का शुल्क लिया जाता है। इसके अलावा, 10,000 रुपये से 1 लाख रूपये तक के NEFT ट्रांजेक्शन के लिए, ग्राहक को 5 रूपये का भुगतान करना होगा। इसी, 1 लाख रूपये से 2 लाख रूपये तक के ट्रान्सफर पर 15 रूपये तथा 2 लाख रूपये से ज़्यादा के NEFT ट्रांजेक्शन के लिए बैंक 25 रूपये शुल्क लेगा|

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एसबीआई (SBI) NEFT क्या है?
नेशनल इलेक्ट्रॉनिक फण्ड ट्रान्सफर (NEFT) प्रणाली एक राष्ट्रव्यापी भुगतान प्रणाली है|. इस योजना के अनुसार, कोई भी व्यक्ति, किसी अन्य व्यक्ति के बैंक अकाउंट में, जिसमें NEFT ट्रान्सफर किया जा सकता हो, पैसे ट्रान्सफर कर सकता है| इस सेवा का उपयोग करने के लिए एक निश्चित शुल्क चुकाना पड़ता है, ये शुल्क ट्रान्सफर की गई राशि पर निर्भर करता है|
भारत में, NEFT की शुरुआत नवंम्बर 2005 में हुई थी, और तब से इसने व्यक्तियों, फर्मों और कॉरपोरेट की इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से फण्ड ट्रान्सफर करने में मदद की है। NEFT द्वारा फण्ड ट्रान्सफर करने से फण्ड उसी समय ट्रान्सफर नहीं हो जाता है जबकि RTGS (रियल टाइम ग्रोस सेटलमेंट) ये सुविधा देता| NEFT हर आधे घंटे में बैच निकालने है, इनमें पिछले आधे घंटे में फण्ड ट्रान्सफर के लिए जितने आवेदन आए हैं, वो ट्रान्सफर पूरे किये जाते हैं| भारतीय स्टेट बैंक (SBI), भारत की सबसे बड़ी बैंकिंग और वित्तीय सेवा कंपनियों के शुरुआती खिलाड़ियों में से एक है, जिन्होंने NEFT सेवा के सफल लॉन्च में सक्रिय रूप से हिस्सा लिया था।

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एसबीआई (SBI) NEFT तथ्य
एसबीआई (SBI) NEFT शुल्क, ट्रांजेक्शन और सर्विस मॉडल के बारे में कुछ बाते हैं, जिन्हें समझ कर आप आसानी से फण्ड ट्रान्सफर कर सकते हैं।
- NEFT ट्रान्सफर के लिए समय सीमा प्रतिबंध हैं। NEFT हर आधे घंटे में बैच निकालने है, इनमें पिछले आधे घंटे में फण्ड ट्रान्सफर के लिए जितने आवेदन आए हैं, वो ट्रान्सफर पूरे किये जाते हैं
- न्यूनतम 1 रूपये की राशि को NEFT द्वारा ट्रान्सफर किया जा सकता है। एसबीआई (SBI) NEFT शुल्क 10,000 रुपये से कम की राशि पर लागू नहीं होते हैं
- कोई अधिकतम ट्रान्सफरसीमा नहीं है; हालांकि आमतौर पर 2,00,000 रूपये से अधिक की धनराशि को RTGS द्वारा ट्रान्सफर करना पसंद किया जाता है
- बैंक खाताधारक NEFT का उपयोग करके आसानी से पैसे ट्रान्सफर और प्राप्त सकते हैं। इसके अलावा गैर-ग्राहक भी NEFT के माध्यम से प्रति ट्रांजेक्शन 50,000/- रूपये तक, पैसे जमा कर सकते हैं
- ऑनलाइन फण्ड ट्रान्सफरके लिए NEFT प्रणाली को सुरक्षित, सरल, और भरोसेमंद माना जाता है
- यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है, कि आप NEFT के द्वारा उन्ही बैकों में ट्रांजेक्शन कर सकते हैं जिनमें NEFTका उपयोग होता है
- NEFT ट्रांजेक्शन के लिए आपको जिसे पैसे भेजने हैं, उसका अकाउंट नंबर, नाम, खाता प्रकार, IFSC कोड आदि जानकारी की आवश्यकता होती है

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एसबीआई (SBI) NEFT सेवा के लाभ
- सुरक्षित और प्रभावी- ऑनलाइन फण्ड ट्रान्सफर के लिए, आप निश्चित रूप से NEFT का चयन कर सकते हैं, क्योंकि इसके द्वारा सुरक्षित फण्ड ट्रान्सफर किया जात है|
- कम शुल्क –NEFT को किफायती मान जाता है। एसबीआई (SBI) NEFT शुल्क कम है, और हाल ही में और कम किया गया है
- बेहद भरोसेमंद – जब भुगतान या इंटरनेट पर धन प्राप्त करने की बात आती है, तो एसबीआई (SBI) की NEFT सेवा अत्यधिक भरोसेमंद है। सिर्फ SBI ही नहीं, बल्कि भारत में कई अन्य बैंक, रिज़र्व बैंक द्वारा निर्धारित मानदण्डों के तहत विनियमित हैं, और इसलिए, आप संतोषजनक रूप से सुरक्षित रहने के लिए इंटरनेट बैंकिंग सुविधा पर भरोसा कर सकते हैं।
एसबीआई (SBI) NEFT सेवा की सीमाएँ
हमें इस ऑनलाइन सेवा पर भरोसा है, पर फिर भी इसमें कुछ कमियां हैं, जिससे सीमित लोग ही इस सुविधा का लाभ उठा सकते हैं। आइये एसबीआई (SBI) की NEFT सेवा की कमियों को जानें:
थोड़ा तकनीकी –यदि हम देखें , तो भारत में NEFT ट्रान्सफर की एक बड़ी खामी है, इसकी मुश्किल तकनीकी प्रक्रिया, जिसे सभी के लिए सफलतापूर्वक समझा नहीं जा सकता है। कंप्यूटर या इंटरनेट की कम जानकारी रखने वाला व्यक्ति इंटरनेट बैंकिंग खाते तक पहुंचने के लिए समस्या का सामना कर सकता है।
ऑनलाइन भुगतान में खतरे –हालाँकि, भारत के अधिकांश बैंक NEFT ट्रांजेक्शन को सुरक्षित करने के लिए उचित कदम उठाते हैं| लेकिन ऐसी संभावनाएँ हो सकती हैं, कि यदि आप किसी असुरक्षित ब्राउज़र का उपयोग कर रहे हैं, तो आपकी निजी जानकारी किसी हैकर को लीक हो सकती है।

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संबंधित सवाल (FAQs)
प्रश्न. यदि NEFT द्वारा ट्रांजेक्शन करने पर वो लाभार्थी के अकाउंट में नहीं जा पाता है, तो क्या पैसा भेजने वाले को वापस मिल जाता है?
उत्तर: हाँ, 2 घंटे की अवधि के भीतर जिसे जिसके दौरान ट्रांजेक्शन संसाधित किया गया था, लौटा दिया जाएगा। इसके अलावा, जैसे ही प्रेषण बैंक द्वारा राशि प्राप्त हो जायेगी, वह प्रेषक के खाते में जमा कर दी जाएगी।
प्रश्न. क्या ग्राहक को ट्रांजेक्शन करते समय SBI NEFT शुल्क के बारे में सूचित किया जाता है?
उत्तर: हर बार 10,000 रूपये से अधिक का ऑनलाइन ट्रान्सफर करते समय, खाते से एक निश्चित SBI NEFT शुल्क काट लिया जाएगा।